गजलीटांड के बन्द पड़े खदान से हो रही है अवैध कोयला की कटाई
धनबाद(खौफ 24): अंगारपथरा ओपी क्षेत्र में कोयला खदान से हो रही है कोयले की अवैध कटाई। एक ओर बाघमारा पुलिस अनुमंडल में अवैध कोयले की कारोवार में कइयों की जाने जा रही है, ताजा मामला बाघमारा थाना क्षेत्र के बेनीडीह साइडिंग में देखने को मिला जंहा 4 कोयला चोरों को सीआईएसएफ ने कोयला चोरी करने के जुर्म में गोली मार दी। कंही ऐसा न हो कि कोयला चोरी रोकने के लिए यंहा भी कइयो की जान चली जाय। आने वाले दिनो में अगर यंहा कोयले की अवैध कटाई पर रोक न लगी तो इस ओपी क्षेत्र में भी बाघमारा जैसी घटना देखने को मिलेगी। बिगत 7 नवम्बर को भी मधुबन थाना क्षेत्र में हो चुकी है वर्चस्व को लेकर खूनी संघर्ष, बमबाजी ओर गोलीबारी की घटना। अवैध कोयला खदान संचालीत होने की है सूचना ओपी प्रभारी कृष्ण कुमार को रहते हुए भी उनके तरफ से कोयले की अवैध कटाई पर कोई अंकुश नही लग रही है,ओर न कोई कार्रवाई हो रही है।
धनबाद कोयलांचल में अवैध कोयला का कारोबार पूरे चरम पर संचालीत है।यहां बीसीसीएल, पुलिस, सीआईएसएफ, प्रशासन सभी के मर्जी से अवैध कोयला का कारोबार चलता है।सिस्टम में बैठे लोग और ओपी प्रभारी कृष्ण कुमार इसपर कार्रवाई करने की जरूरत ही नही समझते है।कभी कभी दिखावे के लिये छोटे छोटे कार्रवाई को कर खानापूर्ति और आम जनता को धोखा जरूर देते है।एफ आई आर अमूमन अज्ञात के नाम से दर्ज कराए जाते है अगर नामजद भी दर्ज की जाती है तो गिरफ्तारी का कोई प्रयास नही होता है।अवैध कोयला कारोबार में वर्चस्व को लेकर हाल के दिनों में कई खूनी संघर्ष हो चुके है।गोलीबारी बमबाजी की घटनाएं भी हुई है।सुदामडीह थाना क्षेत्र पाथरडीह मोहन बाजार में, मधुबन में ,बाघमारा में वर्चस्व को लेकर हुई गोलीबारी में कइयो की मौत हो गई है, और कई घायल हुए है। लेकिन इतना कुछ होने के बाद भी अंगारपथरा ओपी क्षेत्र के ग़जलीटांड के बन्द पड़े खदान से बड़े पैमाने पर अवैध कोयला की कटाई कर तर्को के माध्यम से बाहर ले जाने से प्रभारी के द्वारा नही रोकना कंही न कंही इनकी भी मिलीभगत की गूंज सुनाई देने लगी है। आश्चर्य की बात है कि बाघमारा पुलिस अनुमंडल के अंगरपथरा ओपी क्षेत्र के लम्बी क्षेत्रफल में इतनी बड़ी अवैध कार्य हो रही है जंहा से प्रतिदिन 3 से 4 ट्रक अवैध कोयला निकलता हो ओर प्रभारी को पता भी न चले ये हो नही सकता, या तो पुलिस प्रभारी सब कुछ जानते हुवे भी कुछ नही जान रही है या फिर जान बूझ कर अनजान बनी हुई है।